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नागपुर के सबसे अमीर गैंगस्टर संतोष आंबेकर की कहानी जो कभी चाय बेचता था

देश में जब कभी भी गैंगस्टर्स की बात होती है तो सबसे पहले मन में मुंबई अंडरवर्ल्ड का ध्यान आता है। इसी क्रम में आज आपको नागपुर के उस सबसे अमीर गैंगस्टर संतोष आंबेकर की कहानी बताने जा रहे हैं, जो कभी चाय बेचता था। संतोष आंबेकर अपने शुरुआती दिनों में नागपुर की इतवारी गली में चाय की दुकान चलाता था और यहीं से उसने साल 1989 में जुर्म की दुनिया में एंट्री ली।

महाराष्ट्र का नागपुर शहर वैसे तो संतरे और प्याज के लिए फेमस है लेकिन संतोष आंबेकर जैसा अपराधी भी यहां कुख्यात है। शहर की इतवारी गली में चाय की दुकान चलाने वाले संतोष ने साल 1999 में दोस्त से दुश्मन बने सराफा व्यापारी अनिल निनावे की हत्या कर शहर सहित पूरे सूबे को चौंका दिया। इस मामले में उस पर पहली बार मकोका लगाया गया था, लेकिन वह बाद में बरी हो गया था।

संतोष पर दो दर्जन से अधिक संगीन जुर्मों के मामले दर्ज है, हालांकि, अधिकतर मामलों में वह बरी हो चुका है। ग्लैमरस जिंदगी जीने के लिए मशहूर संतोष की राजनीतिक कुनबों में मजबूत पकड़ थी, साल 2014 में एक बार फोटो में भाजपा विधायक के साथ भी नजर आया था। वहीं, जब साल 2016 में मकोका एक्ट में पुलिस उसे ढूंढ रही थी; तब संतोष एक बीजेपी एमएलसी के साथ नजर आया था।

संतोष को नागपुर का सबसे अमीर गैंगस्टर माना जाता है। कभी चाय बेचने और सर्राफा दुकानों में नौकरी करने वाले संतोष ने अपराध के दम पर करोड़ों की संपत्ति बनाई। इस डॉन पर महाराष्ट्र सरकार ने चार बार मकोका एक्ट के तहत कार्रवाई की थी। साल 2017 में संतोष का नाम बाल्या गावड़े की हत्या में सामने आया लेकिन 2018 में आत्मसमर्पण के कुछ दिनों बाद ही वह मामले से बरी हो गया था।

बिल्डर से रंगदारी मांगने समेत गुजरात के कारोबारी से 5 करोड़ की धोखाधड़ी के मामले में संतोष को साल 2019 में पांच साथियों के साथ क्राइम ब्रांच ने गिरफ्तार किया था। इस मामले में पुलिस तब निशाने पर आई थी, जब गाड़ी ख़राब हो जाने के चलते संतोष को बीच सड़क पर पैदल ले जाकर कोर्ट में पेश किया गया था। जिसकी फोटो सोशल मीडिया पर वायरल हो गई थी। एक समय संतोष ने मजबूत राजनीतिक गठजोड़ के चलते पूरे नागपुर में अपनी धाक जमा ली थी।

हालांकि, इस समय नागपुर का सबसे अमीर गैंगस्टर संतोष आंबेकर जेल में है। साल 2020 में वह चर्चा में तब आया था, जब प्रशासन ने उसके द्वारा किये गए कुछ अवैध निर्माणों पर एक्शन लिया था। जिसमें से उसका हमालपुरा का आलीशान बंगला भी शामिल था। इस बंगले की कीमत करीब 10 करोड़ के करीब की थी। इस घर से एक चांदी का सिंघासन भी जब्त किया गया था, जिस पर बैठकर संतोष जनता दरबार लगाता था।

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